बीकानेर में सभी श्रेणी के बीमाकर्मियों ने किया एफ.डी.आई. को 49 प्रतिशत से बढाकर 74 प्रतिशत करने, वेतन पुनरीक्षण में अत्यधिक विलम्ब का विरोध






बीकानेर (सीके न्यूज/छोटीकाशी)। संयुक्त मोर्चे के आहवान् पर ऑल इण्डिया इन्श्योरेन्स एम्पलॉइज एसोसियेशन, एल.आई.सी. प्रथम श्रेणी अधिकारी संगठन, नेशनल फैडरेशन ऑफ  इन्श्योरेन्स फीड वर्कर्स के संयुक्त तत्वाधान में यहां बीते दिनों विरोध प्रदर्शन किया गया। बीकानेर मण्डल एवं उसकी समस्त शाखा इकाईयों में कार्यरत समस्त अधिकारियों, विकास अधिकारियों एवं कर्मचारियों ने भारत सरकार के बजट प्रस्ताव में एल.आई.सी. का आई.पी.ओ. जारी करने, विदेशी प्रत्यक्ष निवेश की सीमा 49 प्रतिशत से बढाकर 74 प्रतिशत करने, बीमा अधिनियम में प्रस्तावित संशोधनों और वेतन पुनरीक्षण में अत्यधिक विलम्ब के विरोध में भोजनावकाश के दौरान संयुक्त रूप से सरकार के इन कदमों का घोर विरोध करते हुए जोशीले नारों के साथ जबरदस्त प्रदर्शन किया। नरेश वर्मा, शौकत अली पंवार, राकेश जोशी, प्रथम श्रेणी अधिकारी संगठन की ओर से बी.पी. सिंह चौहान, पी.के. राजवंशी एवं एस.एस. मान ने सरकार के इस निगम विरोधी एवं जन विरोधी कदम की संयुक्त रूप से घोर भत्र्सना करते हुए इसके खिलाफ  समस्त निगमकर्मियों को एकजुट होने का और आमजन को जोडते हुए इसे जन आंदोलन में बदलने का आहवान् किया। साथ ही सरकार को चेतावनी भी दी कि इस आत्मघाती निर्णय की सरकारी मंशा को बीमा कर्मी कभी पूरा नहीं होने देगें। इसके खिलाफ  संघर्ष को और तीव्र करते हुए सरकार को अपने निर्णय को वापिस लेने को मजबूर करेगें। वक्ताओं के अनुसार वर्तमान भारत सरकार की अवधारणा 'आत्मनिर्भर भारत' को एक बडा झटका हैं। पूरे विश्व में एलआईसी अपने आप में अद्वितीय एवं उत्कृष्ट संस्थान है। यह एक मात्र ऐसा उद्योग है जो अपने लिए कोई लाभ अर्जित नहीं करता बल्कि अपना पूरा अधिशेष सरकार व बीमाधारकों में वितरित कर देता हैं। एलआईसी ऐसा संस्थान है जो देश सेवा के एकमात्र उद्धेश्य को लेकर कार्य करता है और इसका ग्राहक आधार सामाजिक लाभ है। इसकी संरक्षक भारत सरकार हैं।