सूर्यदत्त एजुकेशन फाउंडेशन द्वारा 'संसाधन और एसेट बैंक' की स्थापना*



पुणे। सुर्यदत्ता ग्रुप के एज्यु-सोशियो कनेक्ट इनिशिएटिव्ह के अंतर्गत दिवंगत रत्नाबाई और बन्सीलाल चोरडिया के प्रेरणा और आशीर्वाद से सुर्यदत्ता एज्युकेशन फाउंडेशन की तरफ से ‘रिसोर्स एंड असेट बैंक’ की स्थापना की गई है। सूर्यदत्ता स्कुल ऑफ इंटरनॅशनल हॉटेल मॅनेजमेंट अंतर्गत सुर्यदत्ता फुड बैंक, सूर्यदत्ता इन्स्टिट्यूट ऑफ फॅशन टेक्नॉलॉजी के अंतर्गत सुर्यदत्ता क्लोदिंग बैंक, सूर्यदत्ता इन्स्टिट्यूट ऑफ डिझाईन के अंतर्गत सुर्यदत्ता प्रॉडक्ट्स बैंक, सूर्यदत्ता इन्स्टिट्यूट ऑफ रिसर्च अँड इनोव्हेशन सेंटर के अंतर्गत सुर्यदत्ता नॉलेज बैंक और सूर्यदत्ता इन्स्टिट्यूट ऑफ बिझनेस मॅनेजमेंट, सूर्यदत्ता इन्स्टिटयूट ऑफ मॅनेजमेंट अँड मास कम्युनिकेशन, सूर्यदत्ता इन्स्टिट्यूट ऑफ बिझनेस मॅनेजमेंट अँड टेक्नॉलॉजी व सूर्यदत्ता कॉलेज ऑफ मॅनेजमेंट इन्फर्मेशन रिसर्च अँड टेक्नॉलॉजी इन संस्थांओं के अंतर्गत सूर्यदत्ता बिझनेस बैंक आदि ऐसी पांच बैंको का इसमें समावेश रहेगा। इस बैंको के द्वारा अलगअलग उपक्रम आयोजित किये जाएंगे। यह जानकारी सुर्यदत्ता ग्रुप की उपाध्यक्षा व सचिव सुषमा चोरडिया ने दी। उन्होंने बताया कि समाज में जो भी जरूरतमंद, होशियार एवं आर्थिक पिछड़े वर्गों के लोगो को, किसानों, दिव्यांग को इन बैंकों के माध्यम से मदद होगी। सुषमा चोरडिया ने आगे कहा कि "सुर्यदत्ता ग्रुप के संस्थापक अध्यक्ष प्रो. डॉ. संजय चोरडिया की संकल्पना से इस उपक्रम की शुरुवात की गई है। इस उपक्रम की प्रबंधन टीम में प्रा. डॉ. शैलेश कासंडे, डॉ. विजयालक्ष्मी, डॉ. शेफाली जोशी, उल्हास चौधरी, अजित शिंदे, मंदार दिवाने, रेणुका घोसपुरकर, मोनिका कर्वे, स्नेहल नवलाखा, डॉ. राम चंद्रा सहित अन्य लोगो का शामिल किया गया है।  सुर्यदत्ता फुड बँक द्वारा एनजीओ, कामगार, रस्ते पे रहने वाले लोगों व अन्य जरूरतमंदो को भोजन और अन्य जीवनावश्यक सामग्री देने का प्रयास किया जाएगा। सूर्यदत्ता के पदाधिकारी और अन्य सदस्यों के जन्मदिवस तथा अन्य महत्वपूर्ण दिवस के अवसर पर व्यापक स्तर पर अन्नदान किया जायेगा। क्लोदिंग बँक द्वारा पुराने कपडे लेकर उनको रफू और अल्टरेशन कर के उन्हें पहनने लायक बनाकर लोगो में बाटे जायेंगे, साथ ही कुछ कपडे नए भी होंगे। इस विषय में छात्र और स्टाफ कपड़ो को अच्छा बनाने में सहायता करेंगे। अनाथ आश्रम, महिला आश्रम, वृद्धाश्रम में रहनेवाले जरूरतमंद लोगो को इसका लाभ होगा। “सुर्यदत्ता प्रॉडक्ट बैंक द्वारा पुनःउपयोगी वस्तुओ का संकलन कर के उसमे आवश्यक सुधार कर  जरूरतमंद लोगो को दिए जायेंगे। साथ ही शैक्षणिक सामान जैसे कि नोटबुक, किताबे, पेन, पेन्सिल्स, रबर, कंपास आदिं चीजों का समावेश होगा। यह सामग्री अध्ययन व साहित्य समुदाय के जरूरतमंद छात्रों को अतिरिक्त पठन पुस्तकों की तरह वितरित किया जाएगा। सूर्यदत्त ज्ञान बैंक से ज्ञानवर्धन का कार्य किया जाएगा। विभिन्न चीजों का ज्ञान ऑनलाइन और ऑफलाइन प्रारूप में प्रदान किया जाएगा। यह भारतीय संस्कृति मूल्यों, वर्तमान मामलों की जानकारी, प्रश्नोत्तर, प्रारंभिक शिक्षा के रूप में ज्ञान प्रदान करेगा। व्यवसाय बैंक के माध्यम से स्टार्टअप और छोटे व्यवसायों को बढ़ावा देने के लिए उद्यमियों को जानकारी और अन्य सहायता प्रदान की जाएगी। श्रीमती चोरडिया के मुताबिक इसके पीछे उद्देश्य स्टार्टअप को प्रेरित करना है, और प्रोफेसर, छात्र या अन्य कर्मचारी सूर्यदत्त परिवार से काम करेंगे। इससे छात्रों को उद्यमिता की ओर रुख करने के साथ-साथ देश के एसएमई को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी। उन्होंने अधिक जानकारी के लिए 9763266829 या sgiassetbk@suryadatta.edu.in पर संपर्क करने की भी अपील की।"  डॉ संजय चोरडिया ने भी कहा कि बच्चों में अच्छे गुणों का समावेश होना चाहिए। यह पहल उनके लिए महत्वपूर्ण होगी कि वे उपलब्ध संसाधनों से नए लक्ष्यों को निर्धारित करने के लिए उद्यमशीलता, करियर के बारे में नए विचारों को विकसित करें। उन्होंने यह भी कहा कि यह बैंक छात्रों के लिए संसाधनों का खजाना होगा, इसलिए जितना संभव हो उतने छात्रों को इससे जुड़ना चाहिए।