"श्रीकृष्णगिरी तीर्थ धाम में गुंजा ॐ पुण्याहं-प्रियन्ताम.., फहराई 20वीं पताका"













शिखर ध्वज के दर्शन मात्र से मिलता है सुख-वैभव : राष्ट्रसंत डॉ वसंतविजयजी म.सा.


-सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधिपति रवि कुमार व अनेक संतों सहित वैश्विक स्तर पर गुरुभक्तों ने की वार्षिक ध्वजा प्रसंग पर शिरकत 


कृष्णगिरी। श्री पार्श्व पद्मावती शक्तिपीठ धाम के पीठाधीपति, राष्ट्रसंत, मंत्र शिरोमणि, सर्वधर्म दिवाकर पूज्य गुरुदेव श्रीजी डॉ वसंत विजय जी महाराज साहब ने रविवार को यहां कृष्णगिरी तीर्थ धाम के 20वें वार्षिक ध्वजारोहण अवसर पर कहा कि मंदिरजी में शिखर ध्वजा फहराने के साथ-साथ जो भी श्रद्धावान इस दृश्य को देखता है वह निश्चित ही श्रेष्ठ एवं योग्यवान बनता है। क्षेत्र विशेष एवं शकुन-शास्त्र की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए उन्होंने कहा कि तीर्थ धाम का आभामंडल एवं कण-कण का स्पर्श मात्र व्यक्ति के जन्म जन्मांतर के पाप को नष्ट कर सर्वोत्तमता प्रदान करते हैं। पूज्य गुरुदेव के सत्प्रवचन, चमत्कारिक मांगलिक व संगीतमय भक्ति प्रस्तुतियों के बीच ॐ पुण्याहं पुण्याहं, प्रियन्ताम प्रियन्ताम.. की गुंजायमान के साथ 36 जिनालयों सह देवकुलिकाओं में लाभार्थी परिवारों द्वारा विधि विधान से शिखर परिवर्तित कर नवपताका फहराई गई। इस अवसर पर सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधिपति रवि कुमार ने सपत्नीक शक्ति पीठाधीपति डॉ वसंतविजयजी म.सा.के समक्ष शीश नवाया एवं आयोजन में शामिल हुए। कृष्णगिरी के जिला कलेक्टर जयचंद्र भानु सहित अनेक न्यायाधीश, जिन कांची मठ के अधिपति भट्टारकजी स्वामी, संतश्री पंकजमुनिजी, डॉ वरुणमुनिजी, डॉ वज्रतिलकजी तथा साध्वीश्री पुण्यशीलाजी व अनेक संत भी इस मौके पर उपस्थित रहे। इससे पूर्व रविवार सुबह स्नात्र महोत्सव एवं श्री सत्तरभेदी महापूजन से प्रारंभ हुए कार्यक्रम में विधिकारक रत्नेश मेहता ने सहभागिता निभाई। दौराने कार्यक्रम विश्व शांतिदूत पूज्य गुरुदेव डॉ वसंतविजयजी म.सा. ने धर्म की रक्षा एवं देश की सुरक्षा के लिए आवाज बुलंद करने का भी जोशीला आह्वान किया। साथ ही जैन व्रतों का पालन करते हुए सकारात्मक ऊर्जा से हर क्षेत्र में आगे बढ़ने का प्रेरणादायी संदेश दिया। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बड़ी संख्या में यहां त्रिदिवसीय आयोजन में एकत्रित हुए सभी श्रद्धालुओं को अनेक मुद्राओं के साथ बीज मन्त्रों का उच्चारण करवाया व समृद्धि प्रदायक रक्षासूत्र तथा आशीर्वाद प्रदान किया। रात्रिकालीन सत्र में उज्जैन के कलाकारों ने जगरूप सिंह चौहान के निर्देशन में भैरव गाथा नाटक का मंचन किया। वहीं बॉलीवुड के डुप्लीकेट संजय दत्त नाम से मशहूर कलाकार रंजीत नायर ने जीवदया व जिनशासन की बुलंद पताका रुपी हास्य नाटिका तथा जादू करतबों की मनोरंजक संदेशप्रद प्रस्तुति दी। उपस्थित अतिथिवृन्द व संतगणों का सत्कार भी किया गया। अनेक गुरुभक्तों द्वारा सामूहिक सहयोग से विभिन्न गौशालाओं में, सभी कलाकारों को एवं सेवाभावी पुजारीगणों के लिए आर्थिक सहयोग व दक्षिणा प्रदान की गई। तीनदिवसीय भक्ति उल्लासमय आयोजन की सम्पन्नता का संचालन राजू सोनी ने किया। कार्यक्रम का सीधा प्रसारण संतश्रीजी के अधिकृत वैरीफाईड यू ट्यूब चैनल थॉट योगा से लाइव किया गया।