बीएसएफ ने निकाली साइकिल यात्रा / 20 हजार से अधिक अधिकारियों व जवानों ने बलिदान देकर की है देश की रक्षा : राठौड़


 



 


बीकानेर, 25 अक्टूबर (छोटीकाशी डॉट पेज)। राजस्थान के बीकानेर में बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स [बीएसएफ] ने रविवार को 71 किलोमीटर की श्रीडूंगरगढ़ तक साइकिल रैली का आयोजन किया। यह रैली बीएसएफ के डीआईजी पुष्पेंद्र सिंह राठौड़ की अगुवाई में रवाना हुई। 61 वर्ष पूर्व 21 अक्टूबर 1959 में लद्दाख में दुर्गम क्षेत्र में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल की एक छोटी सी टुकड़ी के जवानों ने मात्रभूमि की रक्षा करते हुए अपने प्राण न्यौछावर कर दिए तभी से प्रतिवर्ष देश के कोने-कोने में दिवंगत शूरवीरों की स्मृति में पुलिस शहीद दिवस का आयोजन किया जाता है। इसी कार्यक्रम के तहत बीएसएफ, जिला प्रशासन व स्थानीय लोगों द्वारा शहीद मेजर पूरण सिंह सर्किल से एसपी प्रहलाद कृष्णियां ने रैली को हरी झण्डी दिखायी। कार्यक्रम के तहत कोरोना से बचाव, नो मास्क नो एंट्री, सोशियल डिस्टेंसिंग के बारे में भी जागरुक किया गया। रैली में जी ब्रांच के उप कमांडेंट दीपेंद्रसिंह, डा. शुभेंद्रसिंह, शाहिद हुसैन के साथ लगभग 110 बीएसएफकर्मियों, 25 साइक्लिस्टों ने भाग लिया। इस मौके पर प्रोजेक्ट ऑफिसर राजेंद्र जोशी भी मौजूद रहे। रैली के श्रीडूंगरगढ़ पहुंचने पर पुलिस प्रशासन और ग्रामीणों द्वारा वंदे मातरम और भारत माता की जय के नारे लगात हुए रैली का भव्य स्वागत किया गया।  बीएसएफ डीआईजी ने कहा कि तमाम मुश्किलों का सामना करते हुए भारत की सीमाओं की रक्षा बीएसएफ कर रही है जो देश की प्रथम रक्षापंक्ति भी है। अब तक बीएसएफ के 20 हजार से अधिक अधिकारियों व जवानों ने अपने जीवन का बलिदान देकर इस देश की रक्षा की है। इन्हीं शहीदों के सर्वोच्च बलिदान की याद में बीएसएफ ने आज साइकिल रैली का आयोजन किया है। राठौड़ ने बताया कि हाल ही में बीएसएफ ने बॉर्डर पर सीमा चौकी सांचू को सीमा दर्शन चौकी के रुप में विकसित किया है तथा वहां एक म्यूजियम भी बनाया है जो बीएसएफ के गौरवशाली इतिहास को दर्शाता है। राठौड़ ने आमजनों से अपील की है कि वे बॉर्डर आएं तथा बी.ओ.पी. व बीएसएफ म्यूजियम को देखें। श्रीडूंगरगढ़ के प्रशासन व पुलिस द्वारा राठौड़ के साथ साथ शेखावत, व डॉ. शुभेंद्रसिंह को सम्मानित किया गया।