तीन दिनों से कपड़े के मास्क बनाकर वितरित कर रही समाजसेवी आशा पारीक


तीन दिनों से कपड़े के मास्क बनाकर वितरित कर रही समाजसेवी आशा पारीक


बीकानेर। बीकानेर की धरा एक अपनी अलग पहचान हमेशा बना कर रखता है जिसमें अलग-अलग भामाशाह, समाजसेवी और हर क्षेत्र में अपनी अलग पहचान रखने वाले अपना सर्वस्व त्याग कर जन सेवा कार्य में जुट जाते हैं। इसी कड़ी में बीकानेर की समाज सेविका श्रीमती आशा पारीक एक अनोखा कार्य कर रही है वह है कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए घर पर ही कपड़े का मास्क बनाकर नि:शुल्क जरूरतमंद को वितरण करना। आशा पारीक ने बताया की वह स्वयं दिनांक 18 मार्च को बाजार में मास्क लेने के लिए गई उन्होंने एक मास्क रुपए 60 में खरीदा, तभी उन्होंने सोचा कि महज एक कपड़े का बना इतना छोटा सा मास्क है वो भी एक कपड़े का और इतनी अधिक कीमत, एक आम व्यक्ति, गरीब व्यक्ति किस प्रकार से वहन करेगा और उन्होंने उसी दिन से बाजार से कपड़ा खरीद कर मास्क बनाने का निर्णय किया। पिछले तीन दिनों में इन्होंने लगभग 450 सौ से भी ज्यादा मास्क का निशुल्क वितरण करने का दावा किया और मास्क बनाने का कार्य लगातार चल रहा है। पारीक ने बताया कि जब तक इस वायरस का प्रकोप रहेगा तब तक ये इसी प्रकार से मास्क बनाने का काम चालू रहेगा और मास्क का वितरण निशुल्क रहेगा। यदि कोई भामाशाह इस कार्य में सहयोग करने में आगे आता है तो बीकानेर में एक भी मास्क की वह कमी नहीं आने देगी।