बीकानेर। ऋग्वेदीय राका वेद पाठशाला व राजस्थान संस्कृत अकादमी द्वारा ऋषि पंचमी के पर्व पर ऋषि तर्पण व पूजन का आयोजन गोगागेट बाहर स्थित ऋग्वेदी ब्राह्मण गायत्री मंदिर गोगागेट परिसर में रखा गया। कोरोना महामारी के कारण शामिल होने वालों की संख्या को सीमित रखा गया तथा आयोजन को लाइव फेसबुक के माध्यम से दिखाया गया। शास्त्री पं गायत्री प्रसाद शर्मा के आचार्यत्व में हेमाद्रि संकल्प, दशविध स्नान, संध्या जाप तथा देव, ऋषि व पितृ देवताओं को तर्पण किया गया। मुख्य यजमान के रूप में शास्त्री पंडित यज्ञ प्रसाद शर्मा ने बताया कि तर्पण के पश्चात गणेश पूजन, कलश, नवग्रह, षोडश मातृका, सप्त ऋषि का अरुंधति सहित पूजन कर जनेऊ का पूजन किया गया तथा यज्ञ में आहुतियां दी गयी। आरती के पश्चात प्रसाद वितरण भी किया गया। मंदिर के अधिष्ठाता पं बंशीलाल शर्मा ने ऋषि पंचमी पर श्रावणी कर्म के महत्त्व पर प्रकाश डालते हुवे कहा कि इस दिन ज्ञात-अज्ञात अवस्था मे किये गए पापकर्म का प्रायश्चित किया जाता है तथा ईश्वर से क्षमा मांगी जाती है, अपने पूर्वज, ऋषि व पितरों को तर्पण कर उनका आशीर्वाद प्राप्त करने का दिन है। इस दिन प्रत्येक द्विज को श्रावणी कर्म अवश्य करना चाहिये। आयोजन में पं वेद प्रकाश शर्मा, पं गोपीकिशन स्वामी, पं नारायण प्रसाद व प्रकाश चंद्र आदि ने भाग लिया तथा लाइव प्रसारण के माध्यम से सैकड़ो श्रद्धालु आयोजन से जुड़े तथा अपने घर पर श्रावणी कर्म किया।